देर रात इस राज्य में हिली धरती, महसूस किए गए भूकंप के jhatke

Earthquake in Gujarat: 22 अप्रैल की रात गुजरात के कच्छ (Kachchh) में भूकंप के झटके महसूस किए गए, जिससे इलाके में डर का माहौल बन गया. नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी (NCS) के अनुसार, रात 11:26 बजे (भारतीय समयानुसार) रिक्टर स्केल पर 4.3 तीव्रता का भूकंप आया.

स्थानीय लोगों के मुताबिक, भूकंप के झटके महसूस होते ही लोग घबराकर अपने घरों से बाहर निकल आए. हालांकि, भूकंप के केंद्र और गहराई के बारे में विस्तृत जानकारी अभी तक प्राप्त नहीं हो पाई है. प्रशासन ने स्थिति पर निगरानी रखना शुरू कर दिया है, और आपातकालीन सेवाओं को अलर्ट पर रखा गया है.

2 घंटे पहले भी महसूस किए गए भूकंप के झटके
इस भूकंप के दो घंटे पहले ही, नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी ने एक्स पर जानकारी दी थी कि 22 अप्रैल को 9:56 बजे (IST) अफगानिस्तान (Afghanistan) में भी 4.3 तीव्रता का भूकंप आया था. इसके बाद, 22 अप्रैल को ही म्यांमार (Myanmar) में भी 4.0 की तीव्रता का भूकंप महसूस किया गया था.

इसी दिन ताजिकिस्तान (Tajikistan) और तिब्बत (Tibbet) में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए ताजिकिस्तान में 4.1 की तीव्रता के भूकंप ने क्षेत्र को हिला दिया, जबकि तिब्बत में 4.0 तीव्रता का भूकंप आया. ताजिकिस्तान पहाड़ी देश होने के कारण भूकंप, बाढ़, सूखा और हिमस्खलन जैसी प्राकृतिक आपदाओं से अधिक प्रभावित होता है.

पृथ्वी के विभिन्न हिस्सों में भूकंप के झटके महसूस होने का सिलसिला जारी रहा. ऑस्ट्रेलिया के दक्षिण-पूर्वी तट पर 5.2 तीव्रता का भूकंप आया, वहीं अलास्का के पू्र्वी तट पर भी कुछ भूकंप के महसूस किए गए.

भूकंप क्यों आते हैं?
भूकंप मुख्य रूप से धरती की टेक्टोनिक प्लेटों की गतिविधियों के कारण होते हैं. पृथ्वी की ऊपरी परत कई प्लेटों में बटी होती है जो धीमी गति से हिलती रहती हैं. जब ये प्लेटें एक-दूसरे से टकराती हैं या एक-दूसरे के नीचे सरकती हैं, तो वहां दबाव बनता है, जो एक भूकंपीय झटके के रूप में बाहर आता है. इसके अतिरिक्त, जमीन की दरारों पर जमा तनाव भी भूकंप का कारण बन सकता है. कुछ मामलों में ज्वालामुखी विस्फोट भी भूकंप के कारण बन सकते हैं, जिन्हें ‘ज्वालामुखीय भूकंप’ कहा जाता है.

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